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शीतलहर से बचाव व्यवस्था में लापरवाही व भ्रष्टाचार बर्दाश्त नहीं : योगी

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बचाव कार्यो का किया जाए आकस्मिक निरीक्षण

लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि शीतलहर (Cold Wave) से बचाव के लिए किए गए उपायों का आकस्मिक निरीक्षण किया जाए। उन्होंने कहा है कि शीतलहर से बचाव की व्यवस्था में किसी भी प्रकार की लापरवाही व भ्रष्टाचार बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।

Do not tolerate negligence in the rescue system from cold wave: yogi
Do not tolerate negligence in the rescue system from cold wave: yogi

जनपदों को अलाव की व्यवस्था करने, कम्बल वितरित करने एवं रैन बसेरा-शेल्टर होम के संचालन के लिए उनकी मांग को दृष्टिगत रखते हुए धनराशि उपलब्ध कराने का निर्देश देते हुए उन्होंने कहा कि आवश्यकतानुसार तत्काल व्यवस्था करायी जाए।

यह जानकारी देते हुए राज्य सरकार के प्रवक्ता ने आज यहां बताया कि मुख्यमंत्री योगी प्रदेश में अब तक अलाव एवं कम्बल व्यवस्था के लिए दी गई धनराशि एवं इसके सापेक्ष की गई व्यवस्था के सम्बन्ध में उच्च स्तरीय समीक्षा कर रहे थे।

प्रवक्ता ने बताया कि मुख्यमंत्री को अवगत कराया गया कि अब तक अलाव एवं कम्बल व्यवस्था के लिए जनपदों को कुल 28 करोड़ 51 लाख 70 हजार रुपए की धनराशि उपलब्ध करायी गयी है, जिसमें 43 जनपदों द्वारा लगभग 09 करोड़ 27 लाख रुपए अतिरिक्त धनराशि की मांग भी शामिल है।

उन्होंने बताया कि अब तक समस्त जनपदों में 60 हजार से अधिक स्थानों पर अलाव जलवाने की व्यवस्था के साथ-साथ 998 रैन बसेरा/शेल्टर होम संचालित किए गए हैं। इसके साथ ही, 5,41,645 कम्बलों का वितरण भी किया गया है, जिनमें स्वैच्छिक संस्थाओं द्वारा वितरित किए गए 1,15,495 कम्बल भी शामिल हैं।

प्रवक्ता ने बताया कि प्रदेश के समस्त जिलाधिकारियों को निर्देशित किया गया है कि शीतलहर को देखते हुए उनके द्वारा 11/12 जनवरी, 2018 को रैन बसेरा एवं अलाव की व्यवस्था के सत्यापन हेतु अभियान आयोजित किया जाए। साथ ही, इस दौरान आवश्यकतानुसार कम्बलों का वितरण भी किया जाए।

ज्ञातव्य है कि 16 नवम्बर, 2017 को ही प्रदेश की सभी तहसीलों को कम्बल वितरण हेतु प्रति तहसील 05 लाख रुपए एवं अलाव की व्यवस्था के लिए 50 हजार रुपए की धनराशि आवंटित की गई थी। इसके साथ ही, कम्बलों की गुणवत्ता निर्धारित करते हुए एक-एक मानक सैम्पल जनपदवार रक्षित करने एवं एक सील बंद सैम्पल राहत आयुक्त कार्यालय में उपलब्ध कराने के निर्देश दिए गए हैं। जनपदों को शासनादेश में निर्धारित गुणवत्ता के अनुरूप ही कम्बल क्रय करने एवं वितरण में व्यापक प्रचार-प्रसार करते हुए पारदर्शिता अपनाने के निर्देश दिए गए हैं।

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